हिंदू धर्म (Hindu Religion In Hindi) के अनुसार व्यक्ति के जन्म से लेकर मृत्यु तक 16 संस्कार होते हैं। और इन संस्कारों में से आखिरी संस्कार (Funeral In Hindi) होता है अंतिम संस्कार।
इस अंतिम संस्कार में व्यक्ति की अंतिम विदाई से लेकर दाह-संस्कार (Cremation In Hindi) और फिर पुनः घर की शुद्धि तक किए जाने वाले क्रिया-कलाप शामिल होते हैं। गरुड़ पुराण (Garuda Purana In Hindi) में 16वें तथा अंतिम संस्कार से जुड़ी कई बाते बताई गई हैं इन बातों को पूरा करने पर मृत व्यक्ति की आत्मा को शांति मिलती है तथा उस व्यक्ति के अगले जीवन में प्रवेश का रास्ता खुलता है। तो आइए आज इस लेख में जानते है कि बाते क्या-क्या है?
1. सूर्यास्त से पहले करें दाह संस्कार
गरुड़ पुराण के अनुसार सूर्यास्त के बाद कभी भी अंतिम संस्कार या दाह संस्कार नहीं किया जाता। यदि किसी व्यक्ति की मृत्यु सूर्यास्त के बाद हुई है तो उस व्यक्ति को अगले दिन सूर्योदय के बाद जलाया जा सकता है।
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ऐसा माना जाता है कि सूर्यास्त के बाद अंतिम संस्कार करने से उस मृत व्यक्ति की आत्मा को परलोक में कष्ट भोगना पड़ता है और उसके आने वाले अगले जन्म में उस व्यक्ति के किसी अंग में दोष हो सकता है।
2. चिता की परिक्रमा होती है छेद वाले घड़े में जल भरकर
अंतिम संस्कार के वक़्त एक छेद वाले घड़े में जल लेकर चिता पर रखे उस व्यक्ति के शव की परिक्रमा की जाती है और अंत में पीछे की और पटककर उस घड़े को फोड़ दिया जाता है। उस घड़े को फोड़ने के पीछे का कारण है कि उस मृत व्यक्ति की आत्मा का उसके शरीर से मोह भंग हो जाता है।
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परन्तु ऐसा करने के पीछे भी एक रहस्य छिपा हुआ है। वो रहस्य यह है कि ये जीवन भी एक छेद वाले घड़े की तरह है जिसमें आयु पानी की तरह हर पल टपकता रहता है और अंत में सब कुछ त्याग कर जीवात्मा में प्रवेश करता है और घड़ा रूपी जीवन समाप्त हो जाता।
3. उसके पुरुष परिजनों का सिर मुंडाया जाता है
अंतिम संस्कार के वक़्त उस मृत व्यक्ति के पुरुष परिजनों का सिर मुंडाया जाता है। ऐसा करने के पीछे उस मृत व्यक्ति के प्रति श्रद्धा व्यक्त करना है तथा उसके अलावा ये भी अर्थ लगाया जाता है कि अब उनके परिवार वालों के ऊपर जिम्मेदारी आ गई है।
4. पिंड दान तथा श्राद्ध की क्रिया
अंतिम संस्कार के बाद 13 दिनों तक उस मृत व्यक्ति का पिंडदान किया जाता है। पिंडदान करने से उस मृत व्यक्ति की आत्मा को शांति प्राप्त होती है तथा उस मृत व्यक्ति का उसके मृत शरीर से तथा अपने परिवार से मोह भंग हो जाता है।
आप सब का अनोखा ज्ञान पे बहुत बहुत स्वागत है.